भोपाल,
मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में आयकर विभाग की छापेमार कार्रवाई में बड़ा खुलासा हुआ है। IT की कार्रवाई में कई रसूखदारों के नाम सामने आए है। अफसरों के हाथ मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्य सचिव इकबाल सिंह बैंस और उनकी पत्नी के नाम जमीन खरीदी के दस्तावेज हाथ लगे है। बताया गया कि शहर के रातीबढ़, नीलबड़, मेंडोरी में बेश कीमती जमीन खरीदी थी।
दरअसल, 18 दिसंबर को भोपाल में आयकर विभाग की टीम ने बिल्डरों के ठिकानों पर छापेमार कार्रवाई की थी। आईटी टीम ने त्रिशूल, क्वालिटी और ईशान बिल्डर के ठिकानों पर दबिश दी थी। इस मामले में कई बड़े खुलासे हुए है। IT की कार्रवाई में कई रसूखदारों के नाम सामने आए है।
नियमों को ताक पर रखकर खरीदी गई जमीन
बताया जा रहा है कि नियमों को ताक पर रखकर यह जमीन खरीदी गई थी। राजेश शर्मा के जरिए इकबाल सिंह बैंस ने पत्नी और खुद के नाम करोड़ों रुपए की जमीन अपने नाम की। त्रिशूल, क्वालिटी और ईशान बिल्डर के कुल 52 ठिकानों पर पड़ताल में आयकर विभाग को 10 करोड़ रुपए कैश भी मिले। साथ ही 25 लॉकर और गोल्ड समेत बड़ी संख्या में जमीन की खरीद-फरोख्त किए जाने के दस्तावेज भी मिले थे।
इन IPS-IAS अफसरों की भी हैं जमीन
जिस इलाके की जमीन को लेकर हड़कंप मचा हुआ है, वहां प्रदेश के प्रमुख आईएएस अफसर मोहम्मद सुलेमान, अशोक गढ़वाल, बीपी सिंह, अनुपम राजन, नीरज मंडोली, कवींद्र कियावत और आईपीएस ऋषि कुमार शुक्ला, शैलेश सिंह, जयदीप प्रसाद, अजय कुमार शर्मा, मनु व्यास की भी जमीनें है। हालांकि इन IAS-IPS अफसरों की जमीनों पर किसी तरह का कोई सवाल नहीं उठा है।
आयकर छापेमारी का रायपुर कनेक्शन
आयकर की छापेमार कार्रवाई में रायपुर के कारोबारी महेंद्र गोयनका का नाम भी सामने आया है। छापे के बाद महेंद्र गोयनका अपनी पत्नी के साथ अफ्रीका के सोमाली लैंड फरार हो गया है। महेंद्र ने बिल्डर राजेश शर्मा के जरिए करीब 300 करोड़ रुपए जमीनों के खेल में लगाए हैं। राजेश शर्मा ने गोयनका को सेल कंपनियों के भुगतान के जरिये जमीनों की खरीद कराई थी। गोयनका के खिलाफ चल रही जांच में यह बात सामने आई है कि भोपाल के होशंगाबाद रोड स्थित सहारा सिटी में 110 एकड़ जमीन खरीदी गई है। सरकार की नजर से बचने के लिए यह जमीन कर्मचारी और परिचितों के नाम पर ली गई। इससे पहले माईनिंग के कारोबार में धोखाधड़ी को लेकर कटनी में गोयनका के खिलाफ शिकायत की गई थी।
मध्य प्रदेश में बहुत चर्चित आईटी की कार्रवाई के बाद जांच में पता चला है कि भोपाल में सेवनियां गौड़ इलाके में अमिताभ बच्चन ने 5 एकड़ जमीन खरीदी थी। जहां पर अमिताभ बच्चन ने निर्माण की अनुमति मांगी थी, लेकिन सरकार ने इस जगह को लो डेंसिटी और कैचमेंट का एरिया बताकर अनुमति खारिज कर दी थी। लेकिन इसी स्थान पर अधिकारियों का सेंट्रल पार्क बन रहा है। पूर्व मुख्य सचिव इकबाल सिंह बैस के करीबी और आईटी के रडार पर आये राजेश शर्मा इसमें प्रमोटर के रूप में काम कर रहा है। दो साल पहले रेरा ने इसकी अनुमति दी थी। फिलहाल इस मामले में अब आयकर विभाग उन लोगों को नोटिस जारी करने की तैयारी में है, जिनके नाम तीनों ग्रुप से जमीन की खरीद-फरोख्त में सामने आए हैं।