छत्तीसगढपच्चीस रुपये की एलईडी बल्ब से लेकर पचास हज़ार की शॉल तक...

पच्चीस रुपये की एलईडी बल्ब से लेकर पचास हज़ार की शॉल तक सरस मेले में आज से प्रारंभ हुआ क्षेत्रीय सरस मेला

बिलासपुर। क्षेत्रीय सरस मेले का गरिमामय आयोजन सोमवार से प्रारंभ हो गया है। मेले में स्व सहायता समूह की महिलाओं द्वारा अपनी कलाकृतियों का प्रदर्शन किया जा रहा है। मेले में 25 रुपये की एलईडी बल्ब से लेकर 50 हज़ार रुपये कीमती प्योर कश्मीरी पश्मीना शॉल की प्रदर्शनी सह बिक्री की जा रही है। अनेकता में एकता का उद्देश्य लेकर देश की विभिन्न कला व संस्कृति को एक ही स्थान पर प्रदर्शित कर लोगों को न केवल आपस में जोड़ने, बल्कि एक दूसरे से प्रेरित कर आर्थिक रूप से मजबूत करने का उद्देश्य लेकर क्षेत्रीय सरस मेला सोमवार से प्रारंभ हो गया।

पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग के इस आयोजन में देश के विभिन्न राज्यों से स्व सहायता समूह की महिलाएं अपनी कलाकृतियों का प्रदर्शन कर रहीं हैं।

मेले में कथरिमाल करतला कोरबा की संयम समूह की सुनीता बंजारे ने एलईडी बल्ब की प्रदर्शनी लगाई है। वे सोल्ड़िंग मशीन से सामने ही एलईडी बल्ब बनाकर न केवल दिखा रहीं हैं, बल्कि बेच भी रहीं हैं। उन्होंने बताया कि उनका समूह दिन भर में करीब 100 बल्ब बना लेता है। समूह अपने उत्पाद की बिक्री खुले मार्केट में करता है। समूह माह में करीब 500 से भी अधिक एलईडी बल्ब की बिक्री कर लेता है। उन्होंने अपने बल्ब की कीमत सिर्फ 25 रुपये रखी है, जो मार्केट रेट से कम है।

जम्मू-कश्मीर से आये ताहिर ने बताया कि उन्होंने मेले में कश्मीरी कपड़ों की प्रदर्शनी लगाई है। सारा उत्पाद होम मेड है। उनके पास 450 रुपये के स्ट्रॉल से लेकर 50 हज़ार की पश्मीना शॉल तक उपलब्ध है। इसके अलावा कश्मीरी साड़ी, सूट सहित अन्य आकर्षक सामग्रियों की बड़ी श्रृंखला उनके पास उपलब्ध है। मेले में बांस के बर्तन, सी मार्ट के आकर्षक उत्पाद, जैविक उत्पाद, आयुर्वेदिक दवाओं के अलावा हस्त शिल्प के सजावटी सामान सहित अनेक उत्पादों की प्रदर्शनी लगाई गई है।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Latest News

बिलासपुर। क्षेत्रीय सरस मेले का गरिमामय आयोजन सोमवार से प्रारंभ हो गया है। मेले में स्व सहायता समूह की महिलाओं द्वारा अपनी कलाकृतियों का प्रदर्शन किया जा रहा है। मेले में 25 रुपये की एलईडी बल्ब से लेकर 50 हज़ार रुपये कीमती प्योर कश्मीरी पश्मीना शॉल की प्रदर्शनी सह बिक्री की जा रही है। अनेकता में एकता का उद्देश्य लेकर देश की विभिन्न कला व संस्कृति को एक ही स्थान पर प्रदर्शित कर लोगों को न केवल आपस में जोड़ने, बल्कि एक दूसरे से प्रेरित कर आर्थिक रूप से मजबूत करने का उद्देश्य लेकर क्षेत्रीय सरस मेला सोमवार से प्रारंभ हो गया। पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग के इस आयोजन में देश के विभिन्न राज्यों से स्व सहायता समूह की महिलाएं अपनी कलाकृतियों का प्रदर्शन कर रहीं हैं। मेले में कथरिमाल करतला कोरबा की संयम समूह की सुनीता बंजारे ने एलईडी बल्ब की प्रदर्शनी लगाई है। वे सोल्ड़िंग मशीन से सामने ही एलईडी बल्ब बनाकर न केवल दिखा रहीं हैं, बल्कि बेच भी रहीं हैं। उन्होंने बताया कि उनका समूह दिन भर में करीब 100 बल्ब बना लेता है। समूह अपने उत्पाद की बिक्री खुले मार्केट में करता है। समूह माह में करीब 500 से भी अधिक एलईडी बल्ब की बिक्री कर लेता है। उन्होंने अपने बल्ब की कीमत सिर्फ 25 रुपये रखी है, जो मार्केट रेट से कम है। जम्मू-कश्मीर से आये ताहिर ने बताया कि उन्होंने मेले में कश्मीरी कपड़ों की प्रदर्शनी लगाई है। सारा उत्पाद होम मेड है। उनके पास 450 रुपये के स्ट्रॉल से लेकर 50 हज़ार की पश्मीना शॉल तक उपलब्ध है। इसके अलावा कश्मीरी साड़ी, सूट सहित अन्य आकर्षक सामग्रियों की बड़ी श्रृंखला उनके पास उपलब्ध है। मेले में बांस के बर्तन, सी मार्ट के आकर्षक उत्पाद, जैविक उत्पाद, आयुर्वेदिक दवाओं के अलावा हस्त शिल्प के सजावटी सामान सहित अनेक उत्पादों की प्रदर्शनी लगाई गई है।
error: Content is protected !!